देहरादून। औषधि विभाग ने दवा दुकानों पर छापेमारी की। विभाग ने निरीक्षण के दौरान लापरवाही मिलने पर 9 मेडिकल स्टोरों को बंद करवा दिया है। औषधि नियंत्रण विभाग की टीम ने पछवादून क्षेत्र में 14 मेडिकल स्टोरों का औचक निरीक्षण किया। जांच के दौरान फार्मासिस्ट न मिलने और अन्य कई अनियमितताएं पाए जाने पर नौ मेडिकल स्टोरों को बंद करवा दिया है। मेडिकल स्टोर संचालकों को नोटिस भी जारी किए हैं। नोटिस का संतोषजनक जवाब न मिलने और दस्तावेज प्रस्तुत न करने पर संबंधित मेडिकल स्टोर के लाइसेंस रद करने की कार्रवई की जाएगी।

अनियमितता की मिली थी शिकायतें

औषधि नियंत्रण विभाग को पछवादून क्षेत्र की दवा दुकानों में अनियमितता की शिकायतें मिल रही थी। इसके चलते ड्रग इंस्पेक्टर मानेंद्र सिंह राणा के नेतृत्व में अभियान चलाया गया। ड्रग इंस्पेक्टर ने सबसे पहले सेलाकुई में राजकीय मानसिक स्वास्थ्य संस्थान के पास छह मेडिकल स्टोरों का औचक निरीक्षक किया।

औषधि विभाग

इस दौरान तीन मेडिकल स्टोर में फार्मासिस्ट और मालिक दोनों ही गायब मिले। मेडिकल स्टोर में एक्सपायरी और नारकोटिक्स ड्रग का रिकॉर्ड नहीं मिला। एक्सपायर दवाओं को रखने के लिए अलग से बॉक्स भी नहीं बनाए गए थे और मेडिकल स्टोर में गंदगी पाई गई। ड्रग इंस्पेक्टर ने तत्काल मेडिकल स्टोर को बंद कर दवा के क्रय और विक्रय पर रोक लगा दी।

उसके बाद ड्रग इंस्पेक्टर ने सेलाकुई, सहसपुर और बरोटीवाला में आठ मेडिकल स्टोर का औचक निरीक्षण किया। इस दौरान छह में फार्मासिस्ट, स्टॉक, नारकोटिक्स और एक्सपायर दवाओं के रिकॉर्ड नहीं मिले। दवाओं के भंडारण व कोल्ड चेन की व्यवस्था में भी अनियमितताएं पाई। ड्रग इंस्पेक्टर ने मेडिकल स्टोर को बंद करवा दिया।

ड्रग इंस्पेक्टर मानेंद्र सिंह राणा ने बताया कि नौ मेडिकल स्टोर संचालकों को नोटिस जारी कर व्यवस्था में सुधार और संबंधित दस्तावेज कार्यालय में प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने बताया कि सुधार न होने और दस्तावेज उपलब्ध न करवा पाने की स्थिति में संबंधित मेडिकल स्टोर के ड्रग लाइसेंस को कैंसिल कर दिया जाएगा।