दवा बाजार में रेड, हजारों की दवाएं सील  

आगरा। औषधि विभाग की टीम ने फव्वारा दवा बाजार में छापा मारा। टीम को देख दुकानों के शटर बंद कर कारोबारी भाग खड़े हुए। टीम ने तीन दवा की थोक दुकानों से नौ सैंपल लिए हैं और बिल ना दिखाने पर 65 हजार की दवाएं सील की हैं। वहीं, दुकानें बंद करने वाले करीब 200 कारोबारियों को नोटिस देने की तैयारी है। फव्वारा दवा बाजार में औषधि विभाग की टीम छापा मारने के लिए पहुंची। टीम के पहुंचते ही मुबारक महल में थोक दवा की दुकानों के शटर गिरने लगे। कुछ ही देर में फव्वारा दवा बाजार की करीब 200 दुकानें बंद हो गई।
सहायक आयुक्त औषधि शिव शरण सिंह ने बताया कि तीन थोक की दुकानों नौ संदिग्ध दवाओं के सैंपल लिए गए हैं। इन्हें लखनऊ स्थित लैब में जांच के लिए भेज जा रहा है। दवाएं अधोमानक और अपमिश्रित मिलने पर निर्माता और विक्रेता पर मुकदमा दर्ज किया जाएगा। दवाओं का बिल ना दिखाने पर 65 हजार की दवाएं सील की गई हैं। इस दौरान आगरा के औषधि निरीक्षक ब्रजेश कुमार यादव, राजकुमार शर्मा और फीरोजाबाद के औषधि निरीक्षक सुनील कुमार मौजूद रहे। गौरतलब है कि औषधि विभाग द्वारा छापेमार कार्रवाई का तरीका बदल गया है। अभी तक दवाओं का बिल ना देने पर नोटिस जारी किया जाता था। मगर, अब दवाएं सील की जा रही हैं। इससे दवा कारोबारियों में खलबली मची हुई है।
थोक दवा बाजार में बड़ी मात्रा में बिना बिल के दवाओं की खरीद फरोख्त की जा रही है। साथ ही नकली दवाएं भी बिक रही हैं।  औषधि विभाग की टीम ने संजय फार्मा से बीटाडिन ऑइंटमेंट, बीटाडिन गार्गल दवा जब्त की। बिल न दिखाने पर 20 हजार रुपये की दवाएं सील की। इसके अलावा श्री अग्रवाल जी ट्रेडर्स से शेलकाल 250 और 500 मिलीग्राम टेबलेट, वन ऑल टोटल टेबलेट जब्त की। यहां से बिल न दिखाने पर नौ हजार कीमत की शेलकॉल टेबलेट सील की गई। वहीं, संदीप मेडिकल एजेंसी से डी कोल्ड टोटल, क्वाडीडर्म क्रीम, लोबेट जीएम क्रीम, प्रोविरो वीईएस ऑइंटमेंट। बिल न दिखाने पर 45 हजार की 10 तरह की दवाओं को सील किया। औषधि विभाग की छापामार कार्रवाई को लेकर दवा कारोबारियों की एसोसिएशन आमने-सामने आ गई हैं। जिला आगरा केमिस्ट एसोसिएशन ने टीम द्वारा सही काम कर रहे कारोबारियों की दुकानों से सैंपल लेने का विरोध किया है। वहीं, अवैध दवा कारोबार करने वालों पर कार्रवाई नहीं करने के आरोप लगाए हैं। जबकि मेडिकल ट्रेडर्स वेलफेयर एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने औषधि विभाग द्वारा की गई कार्रवाई का समर्थन किया गया।
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