राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने मीडिया रिपोर्टों का स्वत: संज्ञान लेते हुए उत्तर प्रदेश के कानपुर में एक निजी अस्पताल में डॉक्टरों द्वारा कथित लापरवाही के कारण मोतियाबिंद सर्जरी के बाद छह रोगियों की आंखों की रोशनी जाने के मामले में उत्तरप्रदेश सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।

राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग के मुताबिक कथित तौर पर, मरीजों को बताया गया था कि एक निजी अस्पताल में मुफ्त शिविर में आंखों की सर्जरी की जा रही है, लेकिन प्रत्येक से 1500 रुपये लिए गए।

इसके बाद की गई मोतियाबिंद सर्जरी के बाद छह रोगियों की आंखों की रोशनी जाने की जानकारी सामने आई है। आयोग के अनुसार अगर रिपोटरें की सामग्री सही है, तो पीड़ितों के मानवाधिकारों के उल्लंघन हुआ है।

आयोग ने पूरे मामले को लेकर उत्तरप्रदेश के मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेशक को नोटिस जारी कर मामले में एक विस्तृत रिपोर्ट मांगी है, जिसमें घटना के संबंध में दर्ज प्राथमिकी की स्थिति और पीड़ितों को राहत/मुआवजा प्रदान किया गया है या नहीं इसपर जवाब देने को कहा गया है।

आयोग ने कहा कि रिपोर्ट में यह भी शामिल होना चाहिए कि क्या अस्पताल ने नि:शुल्क नेत्र शल्य चिकित्सा शिविर आयोजित करने से पहले जिला अधिकारियों से पूर्व अनुमति प्राप्त की थी ? दोनों अधिकारियों से 4 सप्ताह के भीतर जवाब मांगा गया है।