नई दिल्ली: राजधानी में अब तक आसमान छूने वाली इमारतों में ज्यादा संख्या निजी कॉरपोरेट्स की होती थी, जिनमें कई तरह के दफ्तर चलते हैं, लेकिन अब दिल्ली सरकार के अस्पतालों की इमारतें भी दो दर्जन मंजिल के करीब दिखेंगी। शुरुआत राजधानी के लोकनायक अस्पताल से हो रही है जहां 22 मंजिला चाइल्ड केयर सेंटर बनेगा। आरएमएल अस्पताल में भी गगनचुंबी हाईराइज इमारत बनाने पर होमवर्क चल रहा है। अभी तक राजधानी के बड़े अस्पताल सफदरजंग, एम्स की इमारतों में भी आठ-नौ मंजिल तक ही सेंटर बने है। सफदरजंग अस्पताल में आठ मंजिला सुपर स्पेशियलिटी और इमरजेंसी ब्लॉक पिछले दिनों ही बनकर तैयार हुआ है।
जानकारी के मुताबिक, लोकनायक अस्पताल में हर साल 10 से 15 लाख मरीज पहुंचते हैं। मरीजों की बढ़ती संख्या और सुविधाएं पर्याप्त न होने से अकसर खामियां और लापरवाही की घटनाएं भी सामने आती है। इसी को ध्यान में रखते हुए 1890 बेड वाले इस अस्पताल के विस्तार की योजना है और इसके लिए अस्पताल के पुराने ओपीडी ब्लॉक की जमीन को खाली करा दिया गया है। यहीं अब 22 मंजिला अत्याधुनिक चाइल्ड केयर सेंटर बनेगा, जिसमें 750 बेड की सुविधा होगी। अस्पताल के मेडिकल निदेशक डॉ. जेसी पासी के मुताबिक, अभी योजना को नगर निगम, पुरातत्व सर्वेक्षण सहित अन्य जरूरी विभागों से स्वीकृति के लिए प्रक्रिया चल रही है। इसी तरह आरएमएल अस्पताल में पुनर्विकास योजना के तहत 23 मंजिला हाईराइज बिल्डिंग बनेगी जिसकी स्वीकृति एनडीएमसी से मिल गई है। 824 कमरों वाले इस नए निर्मित अस्पताल पर 181 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है। कुछ नया करने के लिए प्रसिद्ध दिल्ली की आम आदमी पार्टी सरकार अस्पताल इमारतों की ऊंचाई को लेकर चर्चा में है।