सीकर। जिले में पिछले कई दिन से मेडिकल स्टोर संचालकों पर फर्जी औषधि नियंत्रक बनकर लोगों को कार्रवाई की धमकी देकर रुपए ऐंठे जा रहे हैं। बता दें कि जिले में नकली ड्रग इंस्पेक्टर बनकर दवा दुकानदारों के ठगी करने वाला गिरोह सक्रिय हैं। गिरोह से जुड़े बदमाश से पिछले 15 दिन में 3 वारदातें कर चुके हैं। दवा दुकानदारों से लाखों रुपए की वसूली कर फरार हो चुके हैं। ठगी के मामले सामने आने के बाद औषधि नियंत्रण विभाग एडवाइजरी जारी की है। दवा व्यापारियों से अपील की है। जांच के लिए आने वाले औषधि नियंत्रण अधिकारी से आईडी कार्ड मांगे। तो वहीं दूसरी तरफ शुक्रवार को दांतारामगढ इलाके के जालूंड निवासी मेडिकल स्टोर पर काम करने वाले एक व्यक्ति से रुपए ठगने का मामला सामने आया है।
पीडित राकेश कुमार ने बताया कि शाम करीब चार बजे सफेद रंग की बोलेरो में सवार चार लोग उसकी दुकान पर पहुंचे और जयपुर मुख्यालय में नियम विरूद्ध तरीके से दवा बेचने की शिकायत पर जांच करने की बात कही। पीडित ने फोन पर दुकान पर आने वाले चिकित्सक से बात करवानी चाहिए तो डराकर उसके मोबाइल को बंद करवा दिया गया। बाद में जांच के नाम पर कार्रवाई की चेतावनी देते हुए पचास हजार रुपए में मामला रफा-दफा करने की बात कही। पीडित के साथ काफी बहस होने के बाद फर्जी ्रऔषधि नियंत्रक बने लोगो ने 20 हजार रुपए में सौदा तय किया। पीडित ने बताया कि उसने किसी परिचित के पास से लेकर इन लोगों को 20 हजार दिए तो इसके बाद वह मौके से चले गए। राकेश ने बताया कि घटना स्थल सीसीटीवी तो लगे हुए थे लेकिन घटना के समय लाइट नहीं होने के कारण पूरा घटनाक्रम कैमरे में कैद नहीं हो सका।
गौरतलब है कि पिछले दिनो नीमकाथाना इलाके में फार्मासिस्ट की ओर पुलिस में लिखित शिकायत देने के बावजूद इस गिरोह पर किसी प्रकार की कार्रवाई नही होने से इन लोगों का हौंसला बढ़ता जा रहा है। सीकर जिला केमिस्ट एसोसिएशन के अध्यक्ष -संजीव नेहरा ने बताया कि फर्जी औषधि नियंत्रक अधिकारी बनकर जांच के नाम पर रुपए ठगने की शिकायत आ रही है। सभी घटनाओं में सफेद रंग बोलेरो जिसके अलग-अलग नम्बर है और बोलेरो पर भारत सरकार लिखा हुआ है। मेडिकल एसोसिएशन ने सभी मेडिकल स्टोर संचालकों को जिले में नियुक्त औषधि नियंत्रक अधिकारियों के मोबाइल नम्बर दिए हैं। जिससे इस प्रकार की घटना पर फौरन कार्रवाई हो सके।
मामले को लेकर एसोसिएशन की ओर से पुलिस को शिकायत दी जाएगी। औषधि नियंत्रण अधिकारी-बलदेवसिंह ने कहा है कि नकली ड्रग्स इंस्पेक्टर बनकर ठगी करने वाला गिरोह के संबंध में हमने एसपी को परिवाद दिया है। नीमकाथाना मामले में पीड़ित ने मुकदमा दर्ज करा रखा है। दांतारामगढ़ में ठगी की वारदात हो चुके हैं। हमने जिले के सभी दवा व्यापारियों को मैसेज पहुंचाया है कि कोई आपके यहां जांच के बहाने आए तो उनसे आईडी कार्ड मांगे। आईडी जांचने के बाद दुकान में प्रवेश दिया। शक होने पर पुलिस को सूचना दें।