हरिद्वार। फार्मा कंपनी में 1.02 करोड़ के फर्जीवाडे का भंडाफोड़ हुआ है। एकम्स ड्रग्स एंड फार्मास्युटिकल्स कंपनी में आईटी विभाग से जुड़े चार कर्मचारियों ने यह फर्जीवाड़ा कर डाला। कर्मचारियों ने तीन फर्जी कंपनियों के नाम पर झूठे खरीद आदेश जारी किए और 1.02 करोड़ की रकम हड़प ली। कंपनी की आंतरिक जांच के बाद इस मामले का खुलासा हुआ। पुलिस ने शिकायत के आधार पर चार कर्मचारियों के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है।

यह है मामला

एकम्स फार्मा कंपनी की ओर से एचआर अधिकारी समंदर सिंह ने पुलिस को शिकायत दी है। आईटी विभाग में कार्यरत रहे रोहित तिवारी, कमलदीप, रवि सहरावत और विवेक गोयल ने साजिश के तहत औफेल एलएलपी, निकोल कंसल्टेंसी सर्विसेज और एडवांस इन्फो सॉल्यूशन खड़ी कीं। ये कंपनियां उनके रिश्तेदारों के नाम पर रजिस्टर्ड थीं। इन फर्जी कंपनियों को जरूरत से ज्यादा दामों पर आईटी उपकरण, सॉफ्टवेयर और सेवाओं की मांग दिखाकर ऑर्डर दिए गए।

कई ऑर्डर ऐसे थे, जिनमें भुगतान के बाद भी कोई माल कंपनी तक नहीं पहुंचा। आरोप है कि जांच में यह भी सामने आया कि कर्मचारी रवि सहरावत, हरिद्वार में रहकर इन फर्जी कंपनियों के संचालकों के संपर्क में था। उसी के जरिए डील फाइनल होती थी और भुगतान के बाद मोटी रकम सीधे निजी खातों में ट्रांसफर कराई जाती थी। थाना प्रभारी निरीक्षक मनोहर सिंह भंडारी ने बताया कि शिकायत मिलने पर केस दर्ज कर लिया गया है।

इनको किया गिरफ्तार

गिरफ्तार किए गए लोगों में बासपल्ली राम गौड़ (45), बुर्रा रमेश (36), कोट्टागिरी राजम (59), एलंडुला श्रीनिवास (44) और बुर्रा राजशेखर शामिल हैं। रामा गौड़ को पिछले साल इसी तरह के एक मामले में गिरफ्तार किया था। जेल से रिहा होने के बाद उसने फिर गिरोह बनाया और क्लोरल हाइड्रेट तैयार करने वाले लोगों की मदद से इसे तेलंगाना ले जा रहा था।