Baddi: हिमाचल प्रदेश के फार्मा हब बद्दी (Baddi ) में एक बार फिर से नकली दवाएं बनाने के कारोबार का पर्दापाश हुआ है। ड्रग विभाग के द्वारा हुई जांच में खुलासा हुआ कि मैग्नाटेक एंटरप्राइजेज कंपनी अरसे से नकली दवा के कारोबार को अंजाम दे रही थी। इस कंपनी के द्वारा कई राज्यों में नकली दवाओं की सप्लाई हो रही थी।

55 लाख रुपए की नकली दवाएं बरामद (Baddi)

राज्य दवा नियंत्रक प्राधिकरण ने 55 लाख कीमत की नकली दवाओं को बड़ी मात्रा में जब्त किया है। मैनकांइड और इंटास के ब्रांड नाम से मैग्नाटेक एंटरप्राइजेज में निर्मित मल्टीविटामिन और डायबिटीज के उपचार की नकली दवाओं की खेप को ट्रांसपोर्ट कंपनी के गोदाम और कंपनी के परिसर से जब्त किया है।

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राज्य दवा नियंत्रक प्राधिकरण को सूचना मिली थी की बद्दी में नकली दवाओं का निर्माण कर दिल्ली सप्लाई भेजी जा रही है।इस सूचना के आधार पर जब जांच शुरू की तो कुछ साक्ष्य मिले जिसके आधार पर बद्दी के साई रोड पर स्थित ट्रांसपोर्ट कंपनी आरएस रोडलाइन के गोदाम में दबिश दी और भारी मात्रा में नकली दवाओं की बरामदगी हुई। ट्रांसपोर्ट कंपनी के कर्मचारियों ने खुलासा किया की यह खेप मैग्राटेक एंटरप्राइजेज के परिसर से उठाई गई है। जिस पर प्राधिकरण के अधिकारियों ने मैग्नाटेक एंटरप्राइज बद्दी में छापामारी की और बड़ी तादाद में इनप्रोसेस्ड टेबलेट का स्टॉक, नकली दवाओं के ब्लिस्टर स्क्रैप बरामद किया। इस दौरान उस वाहन को भी कब्जे में ले लिया गया है, जिसमें कंपनी में निर्मित नकली दवाओं का परिवहन किया गया था। नकली दवाओं की खेप मध्य दिल्ली स्थित होलसेल की दुकान के लिए भेजी जा रही थी। इसके अलावा कुछ दवाओं को हरियाणा में भी भेजा जाना था।

 कंपनी के मालिक को जांच में शामिल होने में विफल

राज्य दवा नियंत्रक नवनीत मारवाहा ने कहा कि गुप्त सूचना के आधार पर नकली दवाओं की बड़ी खेप बरामद की है। नकली दवाएं बरामद होने के बाद  कंपनी के परिसर को सील कर दिया गया है। कंपनी के  मालिक मुकेश सैनी को जांच में शामिल होने के लिए नोटिस जारी किया गया था लेकिन वो इसमें शामिल नहीं हुए। कंपनी प्रबंधन के खिलाफ ड्रग्स एंड कॉस्मेटिक्स एक्ट की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी गई है।