शिमला। हाल ही में आयोजित राज्य के जिलों के डीसी और एसपी की बैठक में यह मामला उठा था कि नशे के कारोबार में विदेशी नागरिक भी बड़ी संख्या में पकड़े जा रहे हैं। राज्य के कुल्लू, ऊना, सोलन और शिमला सहित कुछ अन्य जिलों में एक दर्जन के करीब नाइजीरियन नागरिकों को नशे के कारोबार में पकड़ा गया है। इसके बाद राज्य सरकार इस मामले को केंद्र सरकार के समक्ष उठाने की तैयारी में है। राज्य सरकार केंद्र सरकार को मेमोरेंडम भेजेगी। इसमें मांग की जाएगी कि नाइजीरियन नागरिकों को वीजा देने से पहले उनके चरित्र और उनका पिछला रिकार्ड को भी देखा जाए। यदि कोई व्यक्ति पहले से नशे के कारोबार में संलिप्त है तो उसे वीजा न दिया जाए। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में इस बैठक का आयोजन किया गया था। सीएम ने बैठक में गृह विभाग को इसके लिए जल्द ही मेमोरेंडम तैयार करने के निर्देश दिए हैं। इस बैठक में निर्णय लिया गया कि स्वास्थ्य विभाग के ब्लॉक मेडिकल ऑफिसर को ड्रग इंस्पेक्टर की शक्तियां दी जाएंगी। ऐसा करने से कानूनी कार्यवाही करने में पुलिस को मदद मिलेगी और मामलों का निपटारा करने में तेजी आएगी। महिलाओं के लिए अलग से नशा निवारण केंद्र खोले जाएंगे। नशीले पदार्थों की जांच के लिए ड्रग डिटेक्शन किट हर विभाग को दी जाएगी। दूसरे राज्यों के साथ नशे पर रोक लगाने के लिए ज्वाइंट ऑपरेशन शुरू किया जाएगा।