नई दिल्ली। कोरोना वायरस के कहर के बीच रेमडेसिविर को लेकर पूरे देश में हाहाकार मचा हुआ है। कोरोना केस बढ़ने से इसकी मांग में इतनी तेजी आई है कि चारों तरफ इसकी किल्लत होने लगी है। इस बीच केंद्र सरकार ने एक राहत भरा फैसला लिया है। केंद्रीय गृह मंत्रालय ने कहा कि कोविड बीमारी में काम आने वाली प्रमुख दवाई रेमडेसिविर का उत्पादन और आपूर्ति को बढ़ाने के लिए कई कदम उठाए गए हैं तथा अगले महीने की शुरुआत तक इसकी आपूर्ति 38.80 लाख यूनिट प्रति माह से बढ़कर 74 लाख यूनिट हो जाएगी। इसके साथ ही मंत्रालय ने राज्यों से इसकी अबाधित आपूर्ति और परिवहन सुनिश्चित करने को कहा। देश में अभी इस दवाई की कमी महसूस की जा रही है।

केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला ने सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के मुख्य सचिवों को लिखे पत्र में कहा है कि 21 अप्रैल से 30 अप्रैल तक राज्यों व केंद्रशासित प्रदेशों को जीवन रक्षक दवाई का अंतरिम आवंटन और आपूर्ति की जाएगी। उन्होंने पत्र में लिखा कि रेमडेसिविर इंजेक्शन और आयातित दवा टोक्लिजुमैब की मांग में भारी बढ़ोतरी होने के कारण इसकी आपूर्ति पर दबाव है। देश में मई, 2021 की शुरुआत तक रेमडेसिविर इंजेक्शन के सात लाइसेंस प्राप्त निर्माताओं की उत्पादन क्षमता 38.80 लाख यूनिट प्रति माह से बढ़ाकर 74 लाख यूनिट प्रति माह करने के लिए कई कदम उठाए गए हैं।

गृह सचिव ने यह भी कहा कि स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय और फार्मास्युटिकल विभाग ने राज्यों व केंद्रशासित प्रदेशों को 21 अप्रैल से 30 अप्रैल तक अंतरिम आवंटन के बारे में सूचित किया है। यह लाइसेंसप्राप्त सभी घरेलू निर्माताओं द्वारा रेमडिसिविर की आपूर्ति के लिए है। भल्ला ने कहा कि कोविड दवाओं की आपूर्ति की दैनिक आधार पर निगरानी और समन्वय के लिए राष्ट्रीय औषधि मूल्य निर्धारण प्राधिकरण और भारतीय औषधि महानियंत्रक के माध्यम से फार्मास्यूटिकल्स विभाग, रसायन और उर्वरक मंत्रालय के तहत एक निगरानी तंत्र स्थापित किया गया है।

केंद्रीय रसायन एवं उर्वरक मंत्री मनसुख मंडाविया ने शुक्रवार को कहा कि सरकार एंटीवायरल दवा रेमडेसिविर का उत्पादन बढ़ाकर जल्दी ही तीन लाख शीशी प्रतिदिन करने के लिए काम किया जा रहा है ताकि देश में कोविड-19 संक्रमण के बढ़ते मामलों के बीच इस दवा की आपूर्ति बढ़ाई जा सके। देश में कोविड-19 संक्रमण के मामले बड़े पैमाने पर बढ़ने के साथ ही रेमडेसिविर की मांग भी कई गुना बढ़ गई है। मंडाविया ने ट्वीट किया कि 12 अप्रैल के बाद से रेमडेसिविर के उत्पादन के लिए 25 नए विनिर्माण स्थलों को मंजूरी दी गई है। उत्पादन क्षमता अब प्रति माह 90 लाख शीशियों तक पहुंचने वाली है, जो पहले 40 लाख शीशी प्रति माह थी। उन्होंने कहा कि सरकार दैनिक आधार पर स्थिति की निगरानी कर रही है और देश में दवा की आपूर्ति बढ़ाने के लिए हर संभव प्रयास करने की जरूरत है।