सोलन। दिल की बीमारी में इस्तेमाल होने वाले कोरोनरी स्टेंट के उत्पादन से निर्माता कंपनियां अपने हाथ पीछे खींच रही हैं। निर्माता कंपनियों में बेहतर मानी जाने वाली एबट हेल्थकेयर ने स्टेंट उत्पादन बंद करने की पेशकश की है। कंपनी का तर्क है कि इसकी मांग कम होने के कारण ऐसा करना चाहते हैं। हालांकि सूत्रों से पता चला है कि उत्पादन बंद करने के पीछे स्टेंट के दाम कम होना ही है। अगर ऐसा होता है तो आने वाले समय में देश में कोरोनरी स्टेंट का संकट गहरा सकता है।

केंद्र सरकार ने हाल ही में स्टेंट के दाम तय कर दिए थे। इसके बाद से ही फार्मा व स्टेंट निर्माता उद्योग में हलचल मची थी। सूत्रों के मुताबिक जो स्टेंट करीबन डेढ़ लाख में बेचा जाता था उसकी कीमत को भारत में 27 हजार रुपये प्रति स्टेंट कर कर दी गई है। नतीजतन कई उद्योगों ने उत्पादन से तौबा कर ली। उधर, नेशनल फार्मास्यूटिकल प्राइसिंग अथॉरिटी ने कंपनी को 60 दिन का समय दिया है। भारत में स्टेंट का उत्पादन बंद करने से पहले कई औपचारिकताओं को सूची कंपनी को थमाते हुए कहा है कि इस अवधि में वह सभी शर्तो को पूरा करे। एबट हेल्थकेयर का एक उद्योग हिमाचल प्रदेश के बद्दी में भी स्थित है। हालांकि यहां सिर्फ कफ सिरप व अन्य कुछ और दवाएं तैयार होती हैं। नेशनल फार्मास्यूटिकल प्राइसिंग अथारिटी के डिप्टी डायरेक्टर आर निहाल पैडरिक ने कंपनी के मैनेजिंग डायरेक्टर और सीईओ को लिखा है कि वह अपने प्रोडक्ट बंद करने से पहले भारत में सभी औपचारिकताओं को 60 दिन में पूरा करे। इसके अलावा प्राधिकरण ने भारत के फार्मास्यूटिकल विभाग के सचिव, परिवार एवं कल्याण मंत्रलय के सचिव, देश के सभी दवा नियंत्रकों और डीसीजीआइ को भी पत्र लिखकर इसकी जानकारी दे दी है।