जालन्धर
हेल्थ सिस्टम कार्पोरेशन के अन्र्तगत आने वाले अस्पतालों के सभी डाक्टरों को ब्रान्डेड दवाईयां लिखने पर पूर्ण प्रतिबन्ध का आदेश दिया गया है। इस संबन्ध के सभी सिविल सर्जनों को सरकारी आदेश द्वारा अवगत करवाया जा चुका है। सभी डाक्टरों को अस्पताल में मुफ्त उपलब्ध दवाईयों ही मरीजों को लिख कर देने के निर्देश दिए गए हैं। इस मकसद के लिए प्रत्येक डाक्टर के कमरे के बाहर उपलब्ध दवाईयों की लिस्ट लगाने के लिए भी सिविल सर्जनों को आदेश दिया गया है। यदि उपलब्ध दवाईयों में से कोई दवाई नहीं है, तो ऐसी सूरत में डाक्टर ब्रान्डेड नाम न लिखकर दवाई में उपलब्ध साल्ट ही लिखकर दे सकता है। यदि कोई भी डाक्टर ब्रान्डेड दवाई का नाम लिख कर मरीज को देता हुआ पकड़ा जाता है तो उस डाक्टर के खिलाफ सख्त कार्यवाई की जाएगी। जिसके लिए डाक्टर खुद ही जिम्मेवार ठहराया जाएगा। यह इसलिए भी जरूरी है क्योंकि ब्रान्डेड कम्पनियां अपना ब्रांड लिखवाकर डाक्टरों को भ्रष्ट करते हुए उन्हें लालच में फंसाकर भ्रष्टाचारी बनने में मदद करते हैं। इसी बात पर अंकुश लगाने के लिए सरकार ने यह ओदश जारी किया है ताकि मरीजों को कम्पनियों की लूट से निजात दिलवाई जा सके।