छिंदवाड़ा (मध्यप्रदेश)। खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग ने जिला अस्पताल के सामने स्थित अजय मेडिकल स्टोर का 5 जुलाई 2012 में निरीक्षण किया था। इस दौरान खाद्य सुरक्षा अधिकारी ने पाया कि विक्रेता दवा और फूड सप्लीमेंट्री भी बेचता है। निरीक्षण में लिपि लिक्विड डितरी सप्लीमेंट और रोवैल प्रोटीन सप्लीमेंट के मानक स्तर पर संदेह होने पर विधिवत खरीदा गया तथा गवाहों के समक्ष नमूना तैयार कर जांच के लिए लैब पहुंचाया गया। जांच के बाद खाद्य एवं औषधि प्रशासन द्वारा उक्त नमूना मिथ्याछाप और असुरक्षित पाए जाने से खाद्य सुरक्षा अधिकारी कमलेश द्वारा अभियोजन स्वीकृति पश्चात आरोपी के विरूद्ध न्यायालय में मामला पेश किया गया था। प्रथम श्रेणी मजिस्ट्रेट छिंदवाड़ा प्रदीप सोनी ने इस केस में दुकानदार, रिटेलर और होलसेलर तीनों को दोषी पाते हुए तीन लाख रुपए का जुर्माना किया है। इस प्रकरण में अजय साहू उम्र 38 वर्ष निवासी छिंदवाड़ा, खुदरा दवा विक्रेता, राजेश साहू उम्र 37 वर्ष निवासी छिंदवाड़ा और स्थानीय डिस्ट्रीब्यूटर तथा नॉमिनी/मैनेजर/ नेक्टर मेडिफार्म प्रा. लिमिटेड आशीष देसाई उम्र 39 वर्ष निवासी अहमदाबाद को खाद्य सुरक्षा एवं मानक अधिनियम 2006 की धारा 52 के तहत आरोपी पाया गया। पहले आरोपी को 50 हजार जुर्माना तथा जुर्माना अदा नहीं करने पर 2 माह का कारावास, दूसरे आरोपी को 1 लाख का जुर्माना तथा जुर्माना अदा नहीं करने पर 4 माह का कारावास तथा तीसरे आरोपी को 1 लाख 50 हजार का जुर्माना तथा जुर्माना अदा नहीं करने पर 6 माह कारावास की सजा सुनाई है। इस मामले में खाद्य सुरक्षा अधिकारी कमलेश दियावार ने बताया कि जांच के दौरान दवा और फूड सप्लेमेंट्री मानक स्तर का नहीं पाया गया था जिसके बाद मामला न्यायालय में पेश किया। इसमें न्यायालय ने रिटेलर, होलसेलर तथा कंपनी के विरुद्व कार्रवाई करते हुए जुर्माने की कार्रवाई की है।