गोरखपुर: गोरखपुर के बेलीपार औषधि विभाग की टीम ने छापेमारी कर दो दवा दुकानों को सील कर दिया। ये दोनों दुकानें बिना लाइसेंस के चल रही थी। दोनों दुकानों को सीज कर औषधि विभाग की टीम ने 3 लाख रुपए की दवाएं जब्त कर ली है। चार दवाओं की जांच के लिए सैंपल भी लिया गया है। इस मामले में बेलीपार पुलिस दोनों दुकान संचालकों को हिरासत में लेकर पूछताछ कर रही है।
गोरखपुर की ये दोनों दुकानें बिना लाइसेंस के चल रही थी
बेलीपार के भीटी गांव निवासी विजय शंकर कुसमौल रोड पर कैलाश मेडिसिन के नाम से दवा की दुकान चलाते हैं। इसी रोड पर कस्बे के रहने वाले मनीष जायसवाल ने भी दवा की दुकान खोल रखी है। ड्रग विभाग के मुताबिक, दोनों ने बिना लाइसेंस के ही दवा की दुकान खोली थी। विभाग से कस्बे के ही एक व्यक्ति ने शिकायत की थी। शिकायत को संज्ञान में लेते हुए ड्रग विभाग की टीम ने दोनों दुकानदारों को दवा बेचते पकड़ लिया।
दवा व्यापारियों में मचा हड़कंप
औषधि विभाग के द्वारा अचानक से हुई इस छापेमारी से दवा व्यापारियों में हड़कंप मच गया है। दवा की दुकानें बंद हो गईं। बताया जा रहा है कि कस्बे में लंबे समय से बिना लाइसेंस की दवाओं के दुकानों का संचालन हो रहा है।
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ड्रग इंस्पेक्टर जय सिंह को सूचना प्राप्त हुई थी कि लंबे वक्त से कस्बे में बिना लाइसेंस के दवा की दुकानों का संचालन हो रहा है। इस सूचना के बाद उन्होंने सहायक आयुक्त औषधि गोरखपुर मंडल एजाज अहमद से मंडलीय औषधि निरीक्षकों की संयुक्त टीम गठित करने की मांग की थी। इसके साथ ही प्रतिरोध के खतरे को देखते हुए पुलिस की भी मदद मांगी गई थी।
छापेमारी की कार्रवाई में बेलीपार थाना प्रभारी राशिद अली के साथ ड्रग इंस्पेक्टर महाराजगंज शिव कुमार नायक, ड्रग इंस्पेक्टर देवरिया रूद्रेश त्रिपाठी और ड्रग इंस्पेक्टर कुशीनगर दीपक पांडेय भी शामिल रहे।