सोनभद्र। उत्तर प्रदेश के सोनभद्र में नए साल के साथ प्रसासन ने निजी अस्पतालों के खिलाफ सख्ती भरा रूख अपना लिया है। निजी अस्पतालों को लेकर लगातार मिल रही शिकायत को देखते हुए अब प्रशासन ने कार्रवाई भी शुरू कर दी है।
डीएम के निर्देश पर एसडीएम शादाब असलम ने घोरावल नगर में निजी अस्पतालों और नर्सिंग होम पर छापेमारी कर उनकी जांच पड़ताल की। इस दौरान तीन अस्पतालों को सीज कर दिया गया। पांच निजी अस्पतालों को नोटिस जारी किया गया। इस छापेमारी की खबर पर कई निजी अस्पताल संचालक शटर गिराकर मौके से भाग गए।
इतना ही नहीं, हैरान करने वाली बात ये भी रही कि जिन अस्पतालों की जांच की गई। उनमें किसी भी अस्पताल में डॉक्टर मौजूद नहीं मिला और न ही किसी अस्पताल के पास संतोषजनक कागज़ात मिले। कई का पंजीकरण ही नहीं कराया गया। तो कुछ अस्पतालों में ऐसे मरीज भी मिले, जिनका ऑपरेशन किया गया है लेकिन अप्रशिक्षित लोगों द्वारा इलाज किया जा रहा था।
एसडीएम ने कहा कि अस्पताल का पंजीकरण, नामित डॉक्टरों, पैरामेडिकल स्टाफ की नियमितता, अभिलेखों की उपलब्धता, रख-रखाव, प्रदूषण नियंत्रण, अग्निशमन, साफ-सफाई, बायोवेस्ट प्रबंधन, ऑपरेशन थिएटर एवं वार्ड की साफ-सफाई जैसे बिंदुओं पर सभी अस्पतालों की जांच की गई। जांच में सभी बिंदुओं पर ज्यादातर में हालत बेहद दयनीय पाई गई।
इस कारर्वाई में जीवन रक्षा पाली क्लिनिक, सुषमा पाली क्लिनिक और बाम्बे क्लिनिक को सीज कर दिया गया। वहीं एलजे हॉस्पिटल, गंगा हॉस्पिटल, साईंनाथ हॉस्पिटल एंड सर्जिकल सेंटर, ऊर्जांचल हॉस्पिटल एंड सर्जिकल सेंटर, शिव महिमा हॉस्पिटल को नोटिस जारी कर तीन दिन के अंदर स्पष्टीकरण मांगा गया है।