अस्पताल में दस्त की दवा देकर दो तस्करों से निकाले सोने के सिक्के

गाजियाबाद। अस्पताल में दो तस्करों को दस्त की दवा देकर मल के रास्ते सोने के सिक्के निकाले जा रहे हैं। अब तक दोनों तस्करों से सोने के 12 सिक्के मल के साथ निकल चुके हैं। एक्स-रे कराने पर पता चला कि एक तस्कर फुजैल के पेट में सोने का सिक्का बचा हुआ है। इसके लिए दस्त लगाने की दवा हर आधे घंटे बाद दी जा रही है ताकि बचा हुआ सिक्का भी निकल आए।

क्राइम ब्रांच ने बस अड्डे से रामपुर के टांडा निवासी फुजैल और नदीम को पकडक़र पूछताछ की तो उन्होंने बताया कि सोने के सिक्के वह निगल गए हैं। अस्पताल प्रबंधन ने तस्करों के पेट से निकले 12 सिक्कों को सील करके एफएसएल लैब भेजने के लिए क्राइम ब्रांच को सांैप दएि हैं। सीएमएस डा. मनोज कुमार चतुर्वेदी ने इसकी पुष्टि करते हुए बताया कि दूसरे आरोपी नदीम को अस्पताल से छुट्टी दे दी गई है। तस्कर के पेट से मल के साथ अधिकांश सोने के सिक्के निकलने पर चिकित्सकों ने राहत की सांस ली है। एक सिक्का न निकलने से परेशानी भी है। सीएमएस ने बताया कि डा.डी के वर्मा, डा. मुकेश चौधरी और डा. मिलिन्द की देखरेख में तस्कर के पेट से बचे हुए एक सोने के सिक्के को निकालने के प्रयास में जुटे हंै।

यह है मामला

पुलिस के अनुसार क्राइम ब्रांच ने सउदी अरब से तस्करी कर सोना लाने वाले दो युवकों को गिरफ्तार किएा। आरोपित करीब 400 ग्राम सोने की तस्करी करके लाए हैं, जिसकी कीमत करीब 25 लाख रुपये है। आरोपियों ने सोने की छोटी टेबलेट बनाकर पानी से निगल ली थीं। आरोपितों का मेडिकल कराया गया। एक्सरे में दोनों के पेट में धातु की टेबलेट होने की पुष्टि हो गई। पुलिस के अनुसार रामपुर निवासी दो युवक सउदी अरब से सोने की तस्करी कर कई लाख रुपये का सोना लाए हैं।

अस्पताल

 

क्राइम ब्रांच ने बस अड्डे से रामपुर के टांडा निवासी फुजैल और नदीम को पकडक़र पूछताछ की तो उन्होंने बताया कि वे सोने की गोलियां निगल गए हैं। सीएमएस ने बताया कि एक बार फिर दोनों के पेट का एक्स-रे कराते हुए पहले एक्स-रे से मिलान किया जाएगा। उधर एडीसीपी क्राइम सच्चिदानंद ने बताया कि आरोपित पांच-छह बार इसी तरह सोने की तस्करी कर ला चुके हैं