इटली। दुनिया में कोरोना की वजह से हाहाकार मचा हुआ है। कोरोनावायरस के संक्रमण और उससे होने वाली मौत का सिलसिला थम नहीं रहा है। कोरोना वैक्सीन के इलाज में दुनिया के तमाम देश रात-दिन कोशिश में जुटे हुए हैं। विश्व स्वास्थ्य संगठन इस साल के अंत तक वैक्सीन आने की उम्मीद जता रहा है। ऐसे में यूरोप में सबसे ज्यादा प्रभावित देश इटली ने कोरोना के महासंकट में बड़ी कामयाबी का दावा किया है।
इटली की सरकार ने दावा किया है कि उसने कोरोनावायरस के खात्मे का एंटी बॉडीज़ तैयार कर लिया है। ये एंटी बॉडीज़ इंसान के शरीर की कोशिका में मौजूद वायरस को खत्म कर देता है।इटली की न्यूज़ एजेंसी ANSA के मुताबिक रोम के संक्रामक बीमारी से जुड़े स्पालनजानी हॉस्पिटल में ये टेस्ट किया गया जिसमें चूहे के भीतर एंटीबॉडीज़ तैयार किया। लजारो स्पालनजानी नैशनल इंस्टिट्यूट ऑफ इन्फेक्शन डिज़ीज़ के रिसर्चर के मुताबिक ये एंटीबॉडीज़ इंसानों पर कारगर है और इसके इस्तेमाल से कौशिकाओं में मौजूद वायरस खत्म हो गए। वैज्ञानिकों ने एक चूहे पर वैक्सीन का टेस्ट किया।
पहले वैक्सीन के बाद ही चूहे के भीतर एंटीबॉडीज़ तैयार हुआ जिसने वायरस को कोशिकाओं को संक्रमित करने से रोक दिया। इस तरह पांच अलग अलग वैक्सीन के इस्तेमाल से बहुत सारे एंटीबॉडीज़ तैयार हुए जिसमें सबसे बेहतर परिणाम देने वाले दो एंटीबॉडीज़ को शोधकर्ताओं ने चुना। इस वैक्सीन का गर्मियों के बाद इंसानों पर प्रयोग किया जा सकेगा।
जहां एक तरफ चीन की वुहान लैब पर दुनिया को मौत का वायरस देने का आरोप है तो दूसरी तरफ दुनिया के तकरीबन कई देशों की लैब में जिंदगी बचाने के लिए वैक्सीन बनाने की होड़ मची हुई है। दुनिया को जानलेवा खतरे से बचाने के लिए इससे पहले ऑस्ट्रेलिया, ब्रिटेन और जर्मनी भी वैक्सीन बनाने के दावे कर चुके हैं।
दुनिया में अब तक 6 जगहों पर वैक्सीन का क्लीनिकल ट्रॉयल चल रहा है। अमेरिका और ब्रिटेन में इंसानों पर वैक्सीन का क्लीनिकल ट्रायल चल रहा है. वहीं चीन ने भी वैक्सीन का क्लीनिकल ट्रॉयल शुरू कर दिया है। जबकि दुनिया में 115 जगहों पर वैक्सीन की खोज हो रही है। हालांकि ये माना जा रहा है कि वैक्सीन बनने में एक से डेढ़ साल का वक्त लग सकता है। ऐसे में इटली की तरफ से वैक्सीन को लेकर दावा यूरोप समेत दुनिया में खुली हवा में सांस लेने का सपना देखने वाली मानव सभ्यता के लिए राहत की उम्मीद जगा रही है।