छतरपुर (मप्र)। कोरोना के प्रकोप के चलते किए गए लॉकडाउन से छतरपुर सहित जिले के अन्य कस्बों व ग्रामीण क्षेत्रों के बाजार में खांसी, जुकाम और बुखार की दवाइयों की मांग तेजी से बढ़ी है। वहीं, डायबिटीज व ब्लड प्रेशर की दवाओं का भी लोग एक महीने का अतिरिक्त स्टॉक करके रख रहे हैं। कोरोना से लडऩे के लिए सैनिटाइजर, मास्क, स्प्रिट खरीदने वालों की संख्या में भी तेजी से इजाफा हुआ है। इनके स्टाक में कमी आने से लोगों की समस्या बढ़ गई है। सरकार के निर्देश के बावजूद जिले के अधिकांश मेडिकल स्टोर्स पर डिटॉल, सैनिटाइजर व मास्क मंहगे दामों में मिल रहे हैं। दुकानदार इनकी मनमानी कीमत वसूलकर मुनाफा कमाने में जुटे हैं। यही नहीं, प्रिंट रेट से 10 फीसदी कम पर दवा देने वाले दुकानदार भी इनकी कीमतों को लेकर कोई समझौता नहीं कर रहे हैं। खरीदारों ने बताया कि वे एक माह के लिए जरूरी दवाओं का स्टाक रखना चाहते हैं पर बाजार में दवाओं, सैनिटाइजर व मास्क की कमी हो जाने से समस्या बढ़ गई है। लोगों का कहना है कि इतना ही नहीं कुछ मेडिकल स्टोर्स से कफ सीरप भी महंगे दामों में बेचे जा रहे हैं। मेडिकल स्टोर के संचालकों ने बताया कि उनके यहां जो भी दवाएं हैं, उन्हें उचित रेट पर बेचा जा रहा है। सैनिटाइजर, मास्क व स्प्रिट का स्टॉक खत्म हो जाने से इस समय कुछ समस्या जरूर आ गई है। इस बारे में बार्डर सील हो जाने से दवाओं की आपूर्ति पर भी असर पड़ा है। दवाओं व मेडिकल फैसिलिटी वाले लोगों व वाहनों को प्रतिबंध से मुक्त करने के लिए प्रशासन को लिखा गया है। यदि आपूर्ति ही समय से नहीं होगी तो मेडिकल स्टोर संचालक कुछ नहीं कर सकेंगे।