नई दिल्ली। नैटको फार्मा को कैंसर की दवा ओलापारिब बेचने पर रोक लगा दी गई है। दिल्ली उच्च न्यायालय ने फार्मा को अगले आदेश तक ओलापारिब को ब्रैकनैट या अन्य ब्रांड नाम के तहत बनाने और बेचने से रोक दिया है ।

सूट पेटेंट का शोषण कर रहा नैटको

बताया गया है कि नैटको फार्मा ओलापैरिब का निर्माण और बिक्री करके सूट पेटेंट का शोषण कर रहा है। यह भी स्वीकार किया गया है कि यह शोषण सूट पेटेंट के जीवन के 19वें वर्ष में हुआ है।

पेटेंट अधिनियम की धारा 64 में निहित किसी भी आधार पर सूट पेटेंट की अमान्यता के प्रति संवेदनशीलता का कोई विश्वसनीय मामला नैटको द्वारा बनाया गया नहीं है। न्यायमूर्ति सी. हरि शंकर ने कहा कि चूंकि मुकदमे के पेटेंट की वैधता को कोई विश्वसनीय चुनौती नहीं दी गई है। इसके चलते अंतरिम निषेधाज्ञा की प्रार्थना आवश्यक रूप से मंजूर की जानी चाहिए।

कुडोस फार्मास्यूटिकल्स ने लगाया सूट पेटेंट के उल्लंघन का आरोप

नैटको फार्मा

गौरतलब है कि कुडोस फार्मास्यूटिकल्स ने अपने सूट पेटेंट के उल्लंघन का आरोप लगाते हुए उच्च न्यायालय का रुख किया था । इसमें कहा गया है कि ओलापैरिब का विशेष रूप से सूट पेटेंट के लिए उसके आवेदन में खुलासा किया गया था। उसकी याचिका दायर होने तक कोई विरोध नहीं हुआ था। मुकदमा दायर होने के बाद ही नैटको ने अपने पेटेंट को रद करने की मांग की।