अम्बाला। हरियाणा के सरकारी फार्मासिस्टों ने स्वास्थ्य मंत्री के घर अपनी वेतन असमानता, तरक्की में सौतेला व्यवहार न बरतने को लेकर जमकर बवाल काटा। स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज से स्वयं मिलकर समस्या बताई। इस पर मंत्री विज ने प्रतिनिधिमंडल को आश्वस्त किया था कि शीघ्र ही सरकारी अधिकारियों के साथ संयुक्त बैठक करवाकर समस्या का समाधान करवा देंगे, परन्तु यह कोरा आश्वासन ही निकला। करीब 20 दिन इंतजार करने के बाद भी जब कोई स्वास्थ्य मंत्री कार्यालय से बुलावा नहीं आया तो रोहतक में बैठक कर  निर्णय लिया कि सभी जिलों में सभी विधायकों को मुख्यमंत्री के नाम मांगपत्र सौंपकर सरकार का ध्यान अपनी ओर आकर्षित करवा अपनी जायज मांगों को मनवाएंगे। इसके लिए मांग पत्र देने का काम स्थानीय संस्था को सौंपा गया। इस बारे जब स्वास्थ्य मंत्री से सम्पर्क किया तो उनके पीए ने फोन उठाया और स्वास्थ्य मंत्री के बैठक में व्यस्त होने की बात बताई। अत: स्वास्थ्यमंत्री का पक्ष सामने नहीं आ पाया। इस माह के अंत मे आचार संहिता लगने की अटकलों के चलते अभी सरकारी फार्मासिस्टों को अपनी मांगें मनवाने के लिए इंतजार करना पढ़ सकता है।