जालन्धर। गुलाब देवी अस्पताल में रक्त वाहिनी इंडिया के तत्वावधान में संचालित ब्लड बैंक में ड्रग व कास्मैटिक एक्ट की धाराओं का उल्लंघन होने पर स्वास्थ्य विभाग ने संज्ञान लेते हुए इसके संचालकों को नोटिस जारी किया था। इसका निर्धारित समय में जवाब न मिलने के बावजूद दूसरी बार भी नोटिस की अनदेखी की गई। अब सेहत विभाग के ज्वाईंट कमीश्नर प्रदीप मट्टू ने उक्त संस्था का लाइसेंस रद्द करने का आदेश कर दिया है।
बता दें कि 4 अगस्त को हिंदुस्तान ब्लड एसोसिएशन ने ब्लड बैंक में प्राप्त धांधलियों का पर्दाफाश करते हुए स्वास्थ्य विभाग को इस बारे में सूचित किया था। परिणामस्वरूप जोनल लाइसेंसिंग अथॉरिटी वरूण सचदेवा की अगुवाई में तीन ड्रग इंस्पेक्टरों की टीम ने ब्लड बैंक पर छापामारी के दौरान 44 यूनिट सील किए। इनमे से 24 यूनिट निर्धारित तापमान पर नहीं रखे हुए थे, जबकि एक सीरियल नम्बर पर दो-दो या तीन-तीन ब्लड बैंक जारी किए हुए थे। स्वास्थ्य विभाग ने तुरन्त ब्लड बैंक की सेवाएं बंद करवा दी थी। 44 ब्लड सैंपलों में से 20 तो ठीक पाए गए, परन्तु ब्लड बैंक के रिकार्ड में पाई गई खामियों के आधार पर लाइसेंस रद्द करने का फैसला लिया गया।
स्वास्थ्य विभाग के अलावा पुलिस ने अपनी कार्रवाई के दौरान अस्पताल के बीटीओ डॉ. हरजीत सिंह, टेक्नीकल सुपरवाइजर भूपिन्द्र सिंह टेक्नीशियन वेद प्रकाश, दिनेश कुमार और बबलू को गिरफ्तार किया था। रक्तवाहिनी इंडिया के संचालक डॉ. आईडी अग्रवाल के खिलाफ भी पुलिस की कार्रवाई चल रही है। सेहत विभाग की उक्त कार्रवाई के कारण ब्लड बैंक की लापरवाही से सैकड़ों मरीजों को नुकसान उठाने से बचाया जा सका है।