सूरत. कोरोना महामारी के दौर में कालाबाजारियों और मुनाफाखोरों द्वारा आम लोगों की जिंदगी से खिलवाड़ का सिलसिला शहर में जारी है। नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन के बाद शहर के अमरोली इलाके में बड़े पैमाने पर नकली सेनेटाइजर तैयार करने का कारखाना पकड़ा गया। पीसीबी पुलिस ने वहां छापा मार कर नकली सेनेटाइजर व उसे तैयार करने की सामग्री समेत 7.93 लाख रुपए का सामान जब्त कर दो जनों को गिरफ्तार किया है।

पुलिस के मुताबिक अश्वनी कुमार रोड़ गोकुलधाम अपार्टमेंट निवासी जीगर भालाणा व पुणागाम अंजनी सोसायटी निवासी नरेश डाभी मिल कर लोगों की जिंदगी से खिलवाड़ कर रहे थे। दोनों अमरोली मोटा वराछा दुखिया ना दरबार रोड स्थित रंगवाड़ी फॉर्म हाउस में एक गोदाम किराए पर लेकर वहां बड़े पैमाने पर नकली सेनेटाइजर व हैंड रब तैयार कर रहे थे।

वे मिथाइल के मिश्रण से गल पद्धति से सेनेटाइजर व हैंड रब तैयार कर रहे थे। उनके बारे में मुखबिर से सूचना मिलने पर पुलिस ने शनिवार को छापेमारी की। पुलिस ने गोदाम से 1200 लीटर मिथाइल, 900 लीटर तैयार किया हुआ नकली सेनेटाइजर व हैंड रब, इसे तैयार करने की सामग्री व एक कार बरामद हुई। पुलिस ने सामान जब्त कर दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया।

पांच-पांच लीटर के पैक में बेचते थे

पुलिस ने बताया कि दोनों मिश्रण में फूड कलर और परफ्यूम मिला कर उन्हें रंग और खुश्बू देते थे। ब्ल्यू स्काई सेनेटाइजर व केयरफुल हैंड रब ब्रांड नेम से नकली उत्पाद पांच-पांच लीटर के डिब्बों में थोक में बेचते थे। वे एक डिब्बे के 130 रुपए लेते थे। डिब्बों पर ब्रांड नेम के साथ उनके स्टीकर लगे होते थे। प्राथमिक पूछताछ में उन्होंने बताया कि प्रतिबंधित मिथाइल वे अंकुर वेकरिया से खरीदते थे। वे नकली सेनेटाइजर बनाने का कारखाना कितने समय से चला रहे थे और किन किन लोगों को इसकी आपूर्ती करते थे, इस बारे में पुलिस जानकारी जुटा रही है।