सीतापुर : होम्योपैथिक अस्पताल तिलपुरा में डॉक्टर सप्ताह में सिर्फ तीन दिन ही आते हैं। इसके बाद मरीजों को बाहर की दवा लिखकर लखनऊ से दवा मंगाकर दी भी जाती है। यह आरोप ग्रामीणों ने लगाया।

ग्रामीणों का आरोप है कि डाक्टर व अन्य कर्मचारी अस्पताल में दवा नहीं होने का जवाब मरीजों को देते हैं, औऱ दवा मंगवाने के लिए 500 से एक हजार रुपये वसूल करते हैं। ग्रामीणो का यह भी कहना है कि अस्पताल प्रतिदिन खुलता भी नहीं है।

ग्रामीणों का कहना है कि होम्योपैथिक अस्पताल तिलपुरा पर सुबह ताला लटका रहा। अस्पताल में डाक्टर कुलदीप व चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी नितिन की तैनाती है।

जब इस बारे में होम्योपैथिक चिकित्सक कुलदीप कुमार से बात की गई तो उन्होंने बताया कि चिकित्सालय नियमित खुलता है। स्वास्थ्य सही नहीं होने की वजह से अस्पताल नहीं पहुंच सका हूं। दूसरे कर्मचारी का पेट खराब है। इस वजह से अस्पताल नहीं खुला है। अस्पताल में दवाओं की उपलब्धता है। बाहर से दवा लाकर देने का आरोप गलत है।

सप्ताह में तीन दिन आते हैं डॉक्टर
ग्रामीण राजेश ने बताया कि होम्योपैथिक अस्पताल के डाक्टर सप्ताह में तीन दिन ही आते हैं। अस्पताल खुलने के बाद भी डॉक्टर 11 बजे आते हैं और दोपहर एक बजे तक लौट जाते हैं।