हैदराबाद। एमआरपी से अधिक मूल्य निर्धारण की एंटीफंगल दवाइयां जब्त की गई हैं। औषधि नियंत्रण प्रशासन के अधिकारियों ने कोठागुडेम में अधिक मूल्य निर्धारण के लिए ग्रिसोलैब-250′ ग्रिसोफुलविन टैबलेट 250 मिलीग्राम को बरामद किया है।
ब्रांड नाम GRISOLAB-250 के तहत बेचा जाने वाला उत्पाद है ग्रिसोफुलविन टैबलेट
बता दें कि ब्रांड नाम ‘GRISOLAB-250’ के तहत बेचा जाने वाला उत्पाद ग्रिसोफुलविन टैबलेट 250 मिलीग्राम औषधि (मूल्य नियंत्रण) आदेश, 2013 के अनुसार मूल्य नियंत्रण के अंतर्गत है। इस उत्पाद को राष्ट्रीय फार्मास्युटिकल मूल्य निर्धारण प्राधिकरण (एनपीपीए) द्वारा निर्धारित सीमा मूल्य के अनुसार बेचा जाता है।
लेबल पर 10 गोलियों के लिए 65 रुपये एमआरपी अंकित
उत्पाद ‘GRISOLAB-250’ ग्रिसोफुलविन टैबलेट 250 मिलीग्राम B.No: GGST-007, Mfg Dt: 04/2023 EXP Dt: 03/2026, लेबोरेट फार्मास्यूटिकल्स इंडिया लिमिटेड द्वारा औद्योगिक क्षेत्र, पोंटा साहिब, हिमाचल प्रदेश द्वारा निर्मित है। इसकी मार्केटिंग जीपीपी एक्सलेड, सलवान, हरियाणा द्वारा की जाती है। इनके लेबल पर 10 गोलियों के लिए 65 रुपये एमआरपी अंकित हैं, जो औषधि (मूल्य नियंत्रण) आदेश, 2013 का उल्लंघन है।
10 टैबलेट के लिए 19.83 रुपये एमआरपी
केंद्र सरकार द्वारा उत्पाद ग्रिसोफुलविन टैबलेट 250 मिलीग्राम के लिए निर्धारित वास्तविक अधिकतम कीमत 10 टैबलेट के लिए 17.7 रुपये है। इसलिए अधिकतम खुदरा मूल्य (एमआरपी) यानी 12 प्रतिशत जीएसटी सहित रुपये से अधिक नहीं होना चाहिए। डीसीए अधिकारियों ने बताया कि 10 टैबलेट के लिए 19.83 रुपये (एमआरपी = अधिकतम कीमत+जीएसटी) होता है।
एक स्ट्रिप के लिए 100 रुपये से अधिक का शुल्क लिया
गौरतलब है कि कंपनी ने उत्पाद की कीमत अधिक रखी है। 10 टैबलेट की एक स्ट्रिप के लिए 100 रुपये से अधिक का शुल्क लिया गया। यह 45.17 प्रति 10 टैबलेट, जो औषधि (मूल्य नियंत्रण) आदेश, 2013 का उल्लंघन प्रदर्शित करता है।