नई दिल्ली। शुगर और वजन के साथ किडनी का भी ख्याल रखने के लिए ग्लूकागन-लाइक पेप्टाइड-1 (GLP-1) रिसेप्टर एगोनिस्ट दवाएं कारगर मानी गई हैं। एक शोध में पाया गया है कि ये दवाएं वजन घटाने और ब्लड शुगर को कंट्रोल करने के साथ-साथ किडनी से जुड़ी बीमारियों को भी कम करती हैं। यह शोध, प्रद लांसेट डायबिटीज एंड एंडोक्रिनोलॉजी जर्नल में प्रकाशित हुआ है।

गौरतलब है कि GLP-1 रिसेप्टर एगोनिस्ट्स का मुख्य काम ब्लड शुगर को कंट्रोल करना है। यह दवाएं इंसुलिन उत्पादन को बढ़ाती हैं और ब्लड शुगर लेवल को कम करती हैं। इसके साथ ही ये दवाएं पाचन प्रक्रिया को धीमा करती हैं, जिससे भूख कम लगती है और वजन घटाने में मदद मिलती है।

शोध में पाया गया कि GLP-1 रिसेप्टर एगोनिस्ट्स का इस्तेमाल करने वाले मरीजों में किडनी फेल होने का खतरा 16 फीसदी तक कम हो जाता है। इसके अलावा, किडनी के काम को मापने वाला ग्लोमेरुलर फिल्ट्रेशन रेट भी 22 फीसदी तक धीमी गति से घटता है। इन दवाओं ने किडनी फेलियर, किडनी फंक्शन में गिरावट और किडनी रोग से होने वाली मौत का खतरा 19 प्रतिशत तक कम किया है।