सूरत (गुजरात)। फर्जी डिग्री घोटाले का भंडाफोड़ हुआ है। सूरत पुलिस ने 13 फर्जी डॉक्टरों को गिरफ्तार किया है और आरोपियों के पास से फर्जी डिग्रियां भी बरामद की हैं। वहीं फर्जी डिग्रियां बेचने वाले रशेष गुजराथी के घर से फर्जी सर्टिफिकेट, डॉक्टर डिग्री के रिन्यूअल फॉर्म भी जब्त किए गए हैं।
यह है मामला
पुलिस ने डॉक्टर रशेष गुजराथी द्वारा तकरीबन 1200 से भी ज़्यादा फर्जी डिग्रियां बनाकर बेचने वाले का भंडाफोड़ किया है। पुलिस ने कुल 13 फर्जी डॉक्टरों को गिरफ्तार किया है। सूरत की पांडेसरा थाना पुलिस की गिरफ्त में आए ये आरोपी डॉक्टर अवैध क्लिनिक और दवाखाना चला रहे थे। साथ ही वहां इलाज के लिए आने वाले मरीजों को दवाइयां देकर उनकी जिंदगी के साथ खिलवाड़ कर रहे थे।
पुलिस फर्जी डॉक्टरों को लेकर काफी समय से कार्रवाई करती आ रही है। इसी क्रम में पुलिस ने क्षेत्र के अलग-अलग इलाकों में छापे मारकर फर्जी डॉक्टरों को गिरफ्तार किया है। पांडेसरा थाना पुलिस ने पहले तीन अलग-अलग फर्जी डॉक्टरों को गिरफ्तार किया था। इनसे पूछताछ में और जगहों पर छापेमारी की गई। पांडेसरा तुलसी धाम सोसाइटी में कविता क्लिनिक, ईश्वर नगर सोसाइटी में श्रेयान क्लिनिक, रणछोड़ नगर में प्रिंस क्लिनिक पर छापेमारी की थी। पुलिस ने डॉक्टर के तौर पर प्रेक्टिस करने वाले बिहार के शशिकांत महंतो, बंगाल के सिद्धार्थ देवनाथ और पार्थ देवनाथ को गिरफ्तार किया था। उनके क्लीनिक में से इलेक्ट्रो होम्योपैथिक, एलोपैथिक की दवाएं, इंजेक्शन, सिरप एवं चिकित्सा की डिग्री मिलाकर 55 हज़ार 210 रुपए का माल जब्त किया गया था।
गिरफ्तार हुए इन तीन आरोपियों की पूछताछ में पुलिस को पता चला कि इन लोगों ने रशेष वि_लदास गुजराथी 75 हजार रुपये में डिग्रियां और सर्टिफिकेट दिलवाई हैं। इस जानकारी के आधार पर पुलिस की टीम ने स्वास्थ्य विभाग की टीम को साथ रखकर गुजराथी के घर पर छापेमारी की थी।