पूरनपुर। फर्जी ड्रग इंस्पेक्टर कई मेडिकल स्टोर संचालकों के हत्थे चढ़ गया। उसकी पिटाई करने के बाद पुलिस को सौंप दिया गया है। आरोप है कि ड्रग इंस्पेक्टर मेडिकल स्टोरों से उगाही करता था। मामले की जानकारी पर ड्रग इंस्पेक्टर नेहा वैश्य ने पूरनपुर पहुंचकर जांच की। जांच के बाद उन्होंने बताया कि आरोपी अपने को सीएमओ बताकर उगाही करता था। उसके पास सीएमओ का आईकार्ड भी मिला है।
यह है मामला
कोतवाली रोड पर दवाई लेने पहुंचे एक युवक को मेडिकल संचालकों ने पकड़ लिया। संचालकों का कहना था कि आरोपी युवक कई बार उसकी दुकान में ड्रंग इंस्पेक्टर बनकर ठगी करके ले गया है। पकड़े गए आरोपी को पुलिस को सौंप दिया गया। चूंकि पकडऩे वाले अधिकांश मेडिकल स्वामी बगैर लाइसेंस की दुकानें चलाने वाले थे। इसको लेकर पुलिस को ठगी की शिकायत न देकर दुकान से सामान उधार ले जाने और बाद में रुपये न देने की शिकायत की गई।
फर्जी ड्रग इंस्पेक्टर पकड़े जाने की जानकारी पर बुधवार को ड्रग इंस्पेक्टर नेहा वैश्य ने पूरनपुर पहुंचकर जांच कर आसपास के लोगों से पूछताछ की। जांच के बाद उन्होंने बताया कि आरोपी युवक ड्रग इंस्पेक्टर नहीं, सीएमओ बनकर वसूली करता था। उसके पास सीएमओ का फर्जी आईकार्ड भी मिला है।
कोतवाल राजीव कुमार शर्मा ने बताया कि जांच में लेनदेन का विवाद पाया गया है। दोनों पक्षों में समझौता होने पर युवक को छोड़ दिया गया। सीएमओ डॉ. आलोक शर्मा ने बताया कि उनके नाम पर कहीं वसूली नहीं हो रही है।