लखनऊ (उत्तर प्रदेश)। कफ सिरप गिरोह का भंडाफोड़ हुआ है। गिरोह से जुड़ी 700 से अधिक फर्जी फर्मे मिलीं हैं। ईडी ने रैकेट से जुड़े लोगों के ठिकानों पर छापेमारी की थी। इस दौरान पता चला कि एनसीआर के रियल एस्टेट सेक्टर में करोड़ों रुपये का निवेश किया गया। वहीं बड़े पैमाने पर फर्जी कंपनियां बनाए जाने का खुलासा हुआ है।

ईडी को मिले दस्तावेजों के अनुसार कफ सिरप रैकेट ने 700 से अधिक फर्जी फर्मों का जाल खड़ा किया। ये सभी कंपनियां करीब 220 संचालकों के नाम पर रजिस्टर्ड हैं। इनमें से बड़ी संख्या में फर्में केवल कागजों में ही मौजूद थीं। उनके वास्तविक संचालकों का कोई भौतिक अस्तित्व नहीं मिला। पता चला है कि 100 से अधिक फर्जी कंपनियां गाजियाबाद के अलग-अलग पतों पर रजिस्टर्ड हैं।

इनमें से अधिकांश कंपनियां विभिन्न पतों पर दर्ज कराई गई थीं। ईडी की टीम को अब तक नोएडा में 50 से अधिक संचालकों का मौके पर कोई सुराग नहीं मिला है। इस गिरोह ने गाजियाबाद के पतों पर भी बड़ी संख्या में फर्जी फर्म रजिस्टर्ड कराई थीं। ईडी ने इन कंपनियों की भी अलग से जांच शुरू कर दी है। जांच में यह स्पष्ट हुआ है कि अधिकतर फर्मों का इस्तेमाल केवल अवैध लेनदेन के लिए किया गया। ईडी का दावा है कि इन फर्जी कंपनियों के जरिए कफ सिरप का अवैध कारोबार हुआ। इनसे अरबों रुपये की कमाई की गई। फिलहाल एजेंसी पूरे नेटवर्क, निवेश और मनी लॉन्ड्रिंग के एंगल से गहन जांच कर रही है।