नई दिल्ली : देश में कोरोना वायरस की दूसरी लहर ने जमकर कहर बरपाया। अब विशेषज्ञों का कहना है कि कोरोना की तीसरी लहर का भी देश में खतरा मंडरा रहा है। वहीं राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में कोरोना की दूसरी लहर के बाद heart problem के मरीजों की संख्या में तेजी से इजाफा देखने को मिला है।
डॉक्टरों का कहना है कि मरीजों की संख्या में बीते साल के मुताबिक 30 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि हुई है। जो लोग एक बार कोरोना से संक्रमित हो चुके हैं, उनमें ये परेशानी ज्यादा देखने को मिल रही है। अस्पतालों में आने वाले मरीजों को सीने में दर्द, धड़कन का बढ़ना, जी मचलना, सांस फूलना जैसी दिक्कतों का सामान करना पड़ रहा है। जांच करने पर रिपोर्ट में पता चलता है की यह मरीज दिल की बीमारियों से जूझ रहे हैं। जब तक दिल तक खून की आपूर्ति नहीं होती है, तो ऐसे में ही दिल की बाई साइड में जोरदार होता है और दिल का दौरा पड़ जाता है। कभी-कभी दिल में दर्द नहीं होता है, तो भी दिल का दौरा पड़ जाता है। इसे साइलेंट हार्ट अटैक कहते हैं।
पारस अस्पताल के कार्डियोलॉजी विभाग के डॉक्टर अमित शर्मा ने कहा कि पोस्ट कोविड या सामान्य मरीजों की ह्रदय की धमनियों में खून के थक्के और नसों में ब्लॉकेज मिल रहा है। इसके इलाज के लिए एंजियोप्लास्टी की जा रही है, जबकि पांच प्रतिशत गंभीर मरीजों की बाइपास सर्जरी भी करनी पड़ रही है। उन्होंने बताया कि लोग दिल से जुड़ी बीमारियों को लेकर लापरवाही बरत रहे हैं। अस्पताल में हर सप्ताह ऐसे तीन से चार मामले आ रहे हैं, जहां गंभीर स्थिति में मरीज की सर्जरी की जा रही है। इसलिए आवश्यक है की लोग ह्रदय की बीमारियों के लक्षणों को जल्द से जल्द पहचान कर इलाज करायें।