नई दिल्ली : क्या आपको सिरदर्द की समस्या से गुजरना पड़ता है। तो यह कोई नई बात नहीं है, दुनिया की 52 प्रतिशत से अधिक आबादी को हर साल सिरदर्द की समस्या से गुजरना पड़ता है, जिनमें से 14 प्रतिशत मामले माइग्रेन के होते हैं। बता दें कि पुरूषों की तुलना में महिलाओं को सरदर्द की समस्या अधिक होती है। इसका खुलासा एक स्टडी में हुआ है।
जर्नल ऑफ हेडेक एंड पेन में प्रकाशित नॉर्वे की साइंस एंड टेक्नोलॉजी यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं की शोध रिपोर्ट के मुताबिक दुनियाभर में 20 से 65 साल के आयुवर्ग में सिरदर्द की समस्या अधिक पायी जाती है। शोध में पाया गया कि 8.6 पुरूष माइग्रेन के शिकार होते हैं, वहीं 17 प्रतिशत महिलायें इससे पीड़ित होती हैं।
शोध से यह भी पता चला कि लगभग 15.8 प्रतिशत लोगों को कभी भी सिरदर्द होने लगता है और इनमें से करीब 50 फीसदी लोगों ने माइग्रेन की शिकायत की।
शोधकर्ताओं ने 1961 से 2020 के बीच प्रकाशित रिपोर्टों के आधार पर सिरदर्द की समस्या का आकलन किया है।
उनकी इस समीक्षा रिपोर्ट में बताया गया है कि लगभग 26 प्रतिशत लोग तनाव संबंधी सिरदर्द से ग्रसित होते हैं और 4.6 प्रतिशत लोगों ने हर माह 15 या उससे अधिक दिन सिरदर्द होने की बात की।
शोध रिपोर्ट के मुख्य लेखक लार्स जैकब सोवनर ने कहा कि दुनिया भर में सिरदर्द की समस्या आम है। इसके अलग-अलग रूप से कई लोग प्रभावित हैं। सिरदर्द रोकने के और इसके उपचार के बेहतर उपाय ढूंढने की जरूरत है।