कोटा – राजस्थान

बच्चों के स्वास्थ्य को बेहतर बनाने के लिए सरकार भले ही नित नई योजनाएं चला रही हो, लेकिन लक्ष्य पूरे नहीं हो रहे हैं। हाल यह है कि नेपाल और बांग्लादेश जैसे राष्ट्रों से भी टीकाकरण में पिछड़े हुए हैं। देश में 65 से 68 प्रतिशत बच्चों का ही टीकाकरण करवाया जा रहा है। बड़ी आबादी अभी भी टीकों से दूर है। यह कहना है राष्ट्रीय टीकाकरण समिति के अध्यक्ष डॉ.विपिन वशिष्ठ का। डॉ.वशिष्ठ ने बताया कि पश्चिमी देशों में 90 से 100 प्रतिशत तक बच्चों का टीकाकरण किया जा रहा है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) द्वारा वैश्विक स्तर के लिए जारी की जाने वाली औसत के अनुसार भी 85 प्रतिशत बच्चों का टीकाकरण हो रहा है।

देश के पांच राज्य उत्तरप्रदेश, बिहार, मध्यप्रदेश, राजस्थान और ओडिशा ही ऐसे हैं, जहां पिछड़ापन अन्य प्रदेशों की अपेक्षा ज्यादा है और राष्ट्रीय स्तर पर इसी कारण भारत पिछड़ा हुआ है। डॉ.वशिष्ठ ने कहा कि सरकार इसके लिए कई कार्यक्रम भी चला रही है लेकिन अपेक्षाकृत परिणाम नहीं आ रहे। इंद्रधनुष में भी सिर्र्फ  लक्ष्य ही पूरे हुए, शत प्रतिशत परिणाम वाली बात नहीं है। देश में टीकाकरण बढ़ाने के लिए अभियान की तरह काम करना होगा। जिस तरह पोलियो मुक्तिके लिए देश में अभियान चलाया गया, उसी तर्ज पर टीकाकरण के लिए अभियान चलाया जाना चाहिए, तभी बच्चों की सेहत बेहतर हो सकेगी।