वायरल बुखार से पीड़ित बच्चे को स्वास्थ्यकर्मियों ने चढ़ा दिया एक्सपायरी डेट का डीएनएस फ्लूड, हालत बिगड़

कानपुर। स्वास्थ्यकर्मियों की लापरवाही इस कदर बढ़ गई है कि अब मरीजों की जान पर बनने लगी है। यूपी के कानपुर देहात में स्वास्थ्य विभाग की बड़ी लापरवाही सामने आई है। जिला अस्पताल में वायरल फीवर से पीड़ित मासूम को लापरवाह स्वास्थ्यकर्मियों ने एक्सपायरी डेट का डीएनएस फ्लूड चढ़ा दिया। एक्सपायरी दवा का डोज देते ही मासूम की हालत बिगड़ गई। उधर, मामला सामने आने के बाद अस्पताल में हड़कंप मच गया। वहीं, मामला सामने आने के बाद स्वास्थ्य महकमे में हड़कंप मच गया। आनन फानन में स्वास्थ्य विभाग के जिले के आलाधिकारी जिला अस्पताल पहुंचे और जांच शुरू कर दी।

अधिकारियों ने जिला अस्पताल के दवाइयों के स्टॉक रूम का भी निरीक्षण किया। इस दौरान भारी संख्या में एक्सपायरी डेट के डीएनएस, आरएल की बोतलें मिली। पूरा मामला कानपुर देहात के जिला अस्पताल का है। इमरजेंसी वार्ड में रूरा के रहने वाले अश्वनी कुमार पाण्डेय वायरल फीवर के चलते गंभीर रूप से बीमार अपने 9 वर्षीय बेटे कुषाग्र पाण्डेय को उपचार के लिए लेकर आए थे। डॉक्टरों ने हालत गंभीर देख कुषाग्र को एमरजेंसी वार्ड में भर्ती कर उपचार शुरू कर दिया था।

इमरजेंसी वार्ड में तैनात डॉक्टर ने उसको भर्ती कर एक्सपायरी डीएनएस फ्लूड चढ़ाने काम शुरू कर दिया। कुषाग्र के पिता की नजर उसके एक्सपायरी डेट की तारीख पर पड़ गई। जिसके बाद अश्वनी ने खुद उस बोतल को बंद किया और डॉक्टर को इसकी जानकारी दी। जिला अस्पताल के मुख्य औषधि भण्डार गृह के प्रभारी फार्मासिस्ट इन्द्रपाल भाटिया ने साफ तौर पर इस लापरवाही को नीचे के लोगों द्वारा किए जाने की बात कही। वो बस यह कहकर पल्ला झाड़ते नजर आए कि वह केवल 2 माह पहले की इस पद पर आए है। स्वास्थ्य विभाग के आलाधिकारी जिला अस्पताल पहुंचे। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों की जांच में जिला अस्पताल में दवाइयों के स्टॉक रूम में एक्सपायरी डेट के भारी संख्या में डीएनएस, आरएल की बोतलें मिली। जिसके बाद अधिकारियों ने मामले की उच्चस्तरीय जांच के आदेश दे दिए हैं।

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