नई दिल्ली। हार्ट अटैक की स्थिति से बचाव के लिए आमतौर पर ली जाने वाली दवा एस्प्रिन को लाभकारी नहीं पाया गया है।
ऑस्ट्रेलिया में हुए एक शोध के अनुसार रोजाना एस्प्रिन लेने से मृत्यु, अपंगता या हृदयवाहिनी संबंधित बीमारी का खतरा कम नहीं होता। पांच साल चले ऑस्ट्रेलिया के इस सबसे बड़े क्लीनिकल ट्रायल का निष्कर्ष सार्वजनिक कर दिया गया है। मोनाश विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं ने एस्प्रिन इन रिड्यूसिंग इवेंट्स इन द एल्डरली (एस्प्री) नामक शोध में लगभग 19 हजार लोगों को शामिल किया था। अध्ययन में इससे धीरे-धीरे रक्तस्राव का खतरा बढऩे का खुलासा हुआ।

मोनाश विश्वविद्यालय में महामारी विज्ञान और निवारक दवा विभागाध्यक्ष जॉन मैकनील का कहना है कि शोध लंबा चला और उन्हें उम्मीद है कि निष्कर्षो से एस्प्रिन की सलाह देने वाले डॉक्टरों को सहायता मिलेगी। एस्प्रिन के 100 वर्ष से भी लंबे समय से मौजूद होने के तथ्य के बावजूद हमें यह नहीं पता था कि अधिक आयु के लोगों को लंबे समय तक स्वस्थ रखने के लिए यह दवाई लेनी चाहिए या नहीं। मैकनील ने कहा कि सभी निवारक दवाओं में सर्वाधिक इस्तेमाल एस्प्रिन का होता है और इस प्रश्न का उत्तर एसप्री ने मुहैया कराया है।