मुंबई। हाल ही में कैंसरकारी तत्वों की मिलावट के चलते अमेरिका में उच्च रक्तचाप की आम दवा की बाजार से वापसी ने कई भारतीय दवा कंपनियों को मौका मुहैया करा दिया है। उच्च रक्तचाप की दवा सार्टन का मामला जुलाई में शुरू हुआ जब अमेरिकी खाद्य व दवा प्रशासन (यूएसएफडीए) ने कई दवा की स्वैच्छिक वापसी को अधिसूचित किया, जिसमें वल्सार्टन मौजूद थे। वल्सार्टन का इस्तेमाल उच्च रक्तचाप व हृदय रोग के इलाज में किया जाता है। यह वापसी अशुद्धता की वजह से हुई, जो वापस मंगाई गई दवा में पाई गई और इनमें वल्सार्टन व इसके कॉम्बिनेशन शामिल थे।
दवा वापसी की यूएसएफडीए की सूची के मुताबिक, चार कंपनियों टेवा, प्रिंसटन, टॉरेंट और हीट्रो ने वैसी दवा वापस मंगाई जिनमें वल्सार्टन मौजूद थे। यूएसएफडीए ने चीन की प्राथमिक आपूर्तिकर्ता कंपनी झियांग हुआअई फार्मास्युटिक को आयात अलर्ट में डाल दिया। यूरोपीय दवा एजेंसी ने भी चीन की वल्सार्टन दवा उत्पादक को दी गई अधिकृत मंजूरी वापस ले ली। इससे बाजार में आपूर्ति की किल्लत हो गई। जिन कंपनियों की दवा वापस मंगाई गई उन्हें अपनी एपीआई के स्रोत में बदलाव करना है और इस तरह से नई एपीआई वाले उत्पादों की मंजूरी लेनी होगी और अमेरिकी बाजार में इसे दोबारा पेश करना होगा। रिपोर्ट के मुताबिक, ऐसी कुछ दवाओं की अमेरिका में अगस्त-सितंबर के दौरान कीमतें बढ़ गईं। एलेंबिक और जुबिलैंट जैसी फर्मों ने यहां मौका देखा। अगस्त-सितंबर के करीब जुबिलैंट फार्मा, माइलन एनवी और एलेंबिक फार्मास्युटिकल्स अमेरिकी बाजार में दवा बेच रही थी। वास्तव में एलेंंबिक ने दूसरी तिमाही में अपने अंतरराष्ट्रीय राजस्व में साल दर साल के हिसाब से 124 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की, जिसकी वजह इसे मिला आपूर्ति का मौका रही। कंपनी के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, अगर वल्सार्टन की बिक्री को छोड़ दिया जाए तो अमेरिकी राजस्व की बढ़त की रफ्तार 20 फीसदी के आसपास होती।
ल्यूपिन ने भी इसमें मौका देखा। ल्यूपिन बैकवार्ड इंटिग्रेटेड कंपनी है। सितंबर में इसके तारापुर संयंत्र के ऑडिट में वल्सार्टन एपीआई को यूएसएफडीए ने सुरक्षित पाया। कंपनी के प्रवक्ता ने कहा, ल्पूपिन के तारापुर संयंत्र में हाल में यूएफएफडीए का ऑडिट पूरा होने के साथ ल्यूपिन की तरफ से निर्मित सार्टन (वल्सार्टन), लोसार्टन और इर्बसार्टन को मानवीय इस्तेमाल के लिए सुरक्षित घोषित किया गया। इससे ल्यूपिन को अमेरिकी बाजार में तैयार उत्पादों की आपूर्ति बनाए रखने में मदद मिली। ल्यूपिन इसके अतिरिक्त सार्टन के तैयार उत्पादों की आपूर्ति यूरोप, जापान व ऑस्ट्रेलिया जैसे अन्य बाजारों को करती है, जिसमें अपने संयंत्र में निर्मित सार्टन का इस्तेमाल होता है। कंपनी ने अतिरिक्त एपीआई का उत्पादन शुरू किया है ताकि सार्टन की और जरूरतें पूरी की जा सके।