कानपुर। बिल्हौर सीएचसी में तैनात फार्मासिस्ट राजेंद्र श्रीवास्तव गरीब मरीजों से सरकारी दवा देने के बदले पैसे की वसूली करने के अलावा मेडिकल स्टोर में दवाओं की बिक्री करता था। किसी मरीज ने उसका पैसे लेते हुए वीडियो बना लिया और सोशल मीडिया में वायरल कर दिया। जानकारी लगते ही सीडीओ ने सीएसची की निरीक्षण किया और मामला सही पाए जाने पर सीएमओ को जानकारी दी। इसके बाद फार्मासिस्ट को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर जांच बैठा दी गई है। गौरतलब है कि बिल्हौर सीएसची में राजेंद्र श्रीवास्तव कई सालों से तैनात हैं। डॉक्टरों और अलाधिकारियों के सहयोग से बड़े पैमाने पर सरकारी दवाओं की बिक्री बाजार में करने के साथ ही सीएसची के डॉक्टरों द्धारा लिखी गई दवाओं के बदले भी पैसे की वसूली करता था। मरीजों और उनके परिजनों ने एसडीएम बिल्हौर, सीएसची अधीक्षक से शिकायत की, लेकिन कार्रवाई नहीं हुई। इसी बीच एक मरीज फार्मासिस्ट से दवा लेने के लिए गया।

जहां उसने पैसे की डिमांड कर दी। मरीज ने मुंहमांगी रकम दे दी और इसी दौरान पूरे घटनाक्रम का वीडियो बना लिया। मरीज ने वीडियो को सोशल मीडिया में वायरल कर दिया। वीडियो की खबर मिलते ही डीएम ने सीडीओ को सीएसची भेजकर पूरे प्रकरण की जांच कराई। मामला सही पाए जाने पर सीएमओ ने फार्मासिस्ट को सस्पेंड कर जांच के बाद एफआईआर दर्ज करा जेल भेजे जाने की बात कही है। सीएसची में आए मरीजों का कहना है कि राजेंद्र श्रीवास्तव फीवर की एक गोली के बदले पांच तो एक इंजेक्शन का पचास रुपए लेता था। पैसे नहीं होने पर दवा नहीं होने की बात कह टरका देता। स्थानीय लोगों ने फार्मासिस्ट की घूसखोरी की शिकायत सीएसची अधिक्षक व एसडीएम बिल्हौर से कई बार की, लेकिन उस पर कार्रवाई नहीं हुई। पिछले साल बिल्हौर सीएसची में बड़े पैमाने पर दवाइयां जलाएं जाने की मामला भी सामने आया था। उसका भी वीडियो वायरल हुआ। जांच के नाम पर खानापूर्ति के बाद फार्मासिस्ट को क्लीनचिट दे दी गई थी। मामले पर सीएमओ ने कहा फार्मासिस्ट को निलंबित कर जांच की जा रही है। दोषी पाए जाने पर एफआईआर दर्ज करा जेल भेजा जाएगा।