भदोही (उ.प्र.)। सूचना का अधिकार अधिनियम के तहत मांगी गई सूचना न देने और राज्य सूचना आयुक्त के आदेशों की अहवेलना करने पर राज्य सूचना आयोग ने जिले के तत्कालीन औषधि निरीक्षक पर 25 हजार जुर्माना लगाया है। सुजातपुर निवासी अधिवक्ता आदर्श त्रिपाठी ने 25 नवंबर 2015 को जन सूचना अधिकार के तहत जनसूचना अधिकारी खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन लखनऊ से भदोही जिले में विभाग की ओर से की गई अब तक की कार्रवाई से जुड़ी सूचना मांगी थी। औषधि निरीक्षक खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन भदोही को पत्र भेजकर सूचनाएं देने को कहा गया। जन सूचना अधिकारी मनोज कुमार सिंह ने सूचना नहीं उपलब्ध कराई, साथ ही कहा गया कि 2008 से पूर्व विभाग मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय में होने के कारण समस्त पत्रावली उन्हीं के यहां है, जबकि मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने कहा कि उक्त समय ही समस्त प्रभार पत्रावली सहित दी गई थी।
सूचना आयुक्त राजकेश्वर सिंह के कोर्ट में वादी आदर्श त्रिपाठी ने यह कथन व्यक्त किया कि यदि संबंधित विभाग में पूर्व की पत्रावली नहीं थी तो विभाग कैसे संचालित हो रहा था। आयुक्त ने औषधि निरीक्षक को उक्त कथन को शपथ पत्र के माध्यम से व्यक्त करने का आदेश दिया। जिसके बाद प्रतिवादी मनोज कुमार सिंह शपथ पत्र पर सूचना आयुक्त को जवाब नहीं दे सके। आयुक्त ने औषधि निरीक्षक मनोज कुमार पर 25 हजार रुपये दंड लगाते हुए उनके वेतन से तीन समान किस्तों में कटौती करने का आदेश कोषाधिकारी को दिया।