सीएम फ्लाइंग ने छापामारी कर पकड़ा झोलाछाप डॉक्टर, बिना लाइसेंस चला रहा था क्लिनिक

अवैध क्लीनिक पर रेड करते सीएम फ्लाइंग के अधिकारी

कैथल। लोगों की जान से खिलवाड़ करने वाले झोलाछाप डॉक्टरों और धड़ल्ले से चल रहे बिना लाइसेंस के मेडिकल स्टोरों पर हरियाणा स्वास्थ्य विभाग काफी सख्ती बरत रहा है। कल कैथल के गांव क्योड़क में एक झोलाछाप डॉक्टर के क्लिनिक पर सीएम फ्लाइंग ने छापा मारा। छापेमारी के दौरान क्लीनिक संचालक के पास क्लीनिक चलाने के लिए कोई भी लाइसेंस नहीं मिला। सीएम फ्लाइंग के अधिकारियों ने बताया कि उनको लगातार कई दिनों से झोलाछाप डॉक्टर द्वारा अवैध रूप से क्लीनिक चलाने की शिकायत मिल रही थी। सीएम फ्लाइंग ने मौके पर पहुंचकर छापेमारी की है। हालांकि इसके पास ज्यादा दवाइयां नहीं मिली। जो मौके पर दवाई पाई गई उसकी जांच की जा रही है। एसके आयुर्वेदिक क्लीनिक के संचालक का नाम डॉ. विक्रम सिंह बताया जा रहा है।

जानकारी के अनुसार कैथल के गांव क्योड़क में मंगलवार को सीएम फ्लाइंग की टीम ने जिला ड्रग्स विभाग के अधिकारियों के साथ मिलकर एक क्लीनिक पर रेड की। यहां क्लीनिक चलाने वाला झोला छाप डाक्टर मिला, जिसके पास न तो कोई डिग्री थी और न ही दुकान का लाइसेंस। यहां आठ प्रकार की दवाइयां, प्रयोग की हुई सीरिंज मिली, जिसे सील कर दिया गया है। चिकित्सक के विरुद्ध कार्रवाई को लेकर संबंधित पुलिस थाना में शिकायत दी गई है। सीएम फ्लाइंग की टीम में इंस्पेक्टर शमशेर सिंह, जिला ड्रग्स कंट्रोल अधिकारी विजय राजे, राकेश कुमार, डा. ललित मौजूद रहे। वहीं सीएम फ्लाइंग की इस रेड से दूसरे क्लीनिक संचालकों में भी हड़कंप मच गया। इस क्लीनिक पर आयुर्वेदिक दवाइयां की बिक्री बारे भी जानकारी दी गई थी, जबकि डाक्टर के पास कोई आयुर्वेदिक डिग्री भी नहीं है।

बता दें कि पूर्व में भी कैथल में इस तरह की कार्रवाई विभागीय टीम कर चुकी है। पिछले माह ढांड क्षेत्र में एक गांव में मकान में रेड की। जहां से भारी मात्रा में दवाइयों की खेप पकड़ी थी। संबंधित दवाइयों का बिल भी मकान मकान के पास नहीं था। जिला ड्रग्स कंट्रोल अधिकारी विजय राजे ने बताया कि विभाग को सूचना मिली थी कि गांव क्योड़क में एक झोला छाप डाक्टर क्लीनिक चला रहा है, जो कई प्रकार की दवाइयां बेचता है और लोगों का इलाज भी करता है। इसकी सूचना मिलने के बाद सीएम फ्लाइंग की टीम के साथ रेड की गई। यहां से आठ प्रकार की दवाइयां मिली।

क्लिनिक में आयुर्वेदक दवाईयां व एलोपैथिक दवाइयां व प्रयोग की हुई सीरिंज पड़ी है। इसके पास कोई वैध डिग्री या लाइसेंस नहीं है। इसने दुकान पर आयुर्वेदिक क्लिनिक लिखा हुआ है उसके लिए भी इसके पास कोई लाइसेंस नहीं है। यहां मौके पर प्रयोग की हुई सीरिंज व प्रयोग की हुई वायल मिली है। जिसकी यहां पर आने वाले लोगों पर प्रैक्टिस यह कर रहा है। टीम ने यहां रखी गई दवाइयों को सील कर दिया है।  इस तरह से दुकान चलाना लोगों के स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ है। दुकान मालिक से पता चला है कि इसको दो माह पहले यह दुकान किराए पर दी थी, दो माह से यह दुकान चल रही थी। बिना लाइसेंस के 420 आईएमसी एक्ट में सजा का प्रावधान है। आरोपी चिकित्सक के खिलाफ पुलिस को रिपोर्ट दी गई है।

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